न्यूज अपडेट्स
हिमाचल प्रदेश में युवा कांग्रेस के चुनावों के लिए जारी सदस्यता अभियान पर पार्टी के वरिष्ठ नेताओं ने सवाल उठा दिए हैं। सोमवार को प्रदेश कांग्रेस मुख्यालय राजीव भवन शिमला में आयोजित बैठक में कई नेताओं ने भाजपा और आरएसएस से जुड़े युवाओं को युवा कांग्रेस का सदस्य बनाने का मामला उठाया। वरिष्ठ नेताओं ने कहा कि चुनाव जीतने के लिए किसी को भी युकां का सदस्य बनाया जा रहा है। यह सदस्य पार्टी के प्रति समर्पित नहीं हैं। चुनाव प्रक्रिया पूरी होने के बाद यह युवा नहीं मिलेंगे। प्रदेश मामलों के सह प्रभारी विदित चौधरी के समक्ष कई नेताओं ने कांग्रेस कमेटी की जंबो कार्यकारिणी के गठन और उपस्थिति नाममात्र होने का मामला भी उठाया।
इन नेताओं ने कहा कि प्रदेश कमेटी में पदाधिकारियों की संख्या बहुत अधिक हो गई है। यह पदाधिकारी संगठन की गतिविधियों में भाग तक नहीं लेते। सोमवार को बुलाई पार्टी की बैठक में भी अधिकांश पदाधिकारी नहीं आए हैं। इन नेताओं ने कहा कि अगर इन सभी मामलों को गंभीरता से नहीं लिया गया तो पार्टी के लिए मुश्किलें खड़ी होंगी। वरिष्ठ नेताओं ने कहा कि कहीं न कहीं पार्टी कार्यकर्ता हमसे दूर होता जा रहा है और यह दूरी समय पर दूर करनी होगी। उन्होंने कहा कि 2027 के विधानसभा चुनावों के लिए अभी से कमर कसते हुए कार्यकर्ताओं के मनोबल को बढ़ाना होगा।
उधर, अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी के सचिव और प्रदेश मामलों के सह प्रभारी विदित चौधरी ने कहा है कि प्रदेश सरकार में पार्टी के कर्मठ कार्यकर्ताओं को मान सम्मान मिले, इसके वह पूरे प्रयास करेंगे। कहा कि पार्टी कार्यकर्ताओं की पूरी बात सुनी जानी चाहिए और उनको पूरा सम्मान मिलना चाहिए। जिस भी पदाधिकारी को जो भी जिम्मेदारी दी गई है, उसे पूरी निष्ठा से निभाना होगा। उनकी जवाबदेही तय की जाएगी।
प्रदेश कांग्रेस संगठन महामंत्री रजनीश किमटा ने कहा कि संगठन अपने दायित्व को पूरी ईमानदारी से निभा रहा है। अधिकांश नेताओं ने पार्टी का सदस्यता अभियान शुरू करने की आवश्यकता पर बल दिया। नेताओं ने कहा कि संगठन में नए युवाओं को जोड़ने के विशेष प्रयास किए जाने चाहिए। सरकार व संगठन के बीच बेहतर तालमेल के लिए प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अलावा अग्रणी संगठनों की बैठकें होनी चाहिए। सरकार को पार्टी कार्यकर्ताओं को मान सम्मान देते हुए उनकी बात सुननी चाहिए।
लोस चुनाव में हार पर मंथन की जरूरत: प्रतिभा
प्रदेश अध्यक्ष प्रतिभा सिंह ने लोकसभा चुनाव में मिली हार पर मंथन की जरूरत जताई। उन्होंने निष्ठावान कार्यकर्ताओं के लिए सरकार में भागीदारी की मांग को फिर दोहराया। कहा कि पार्टी की मजबूती के लिए कार्यकारिणी में निष्ठावान व कर्मठ लोगों को अवसर देने की जरूरत है। संगठन से जुड़े अहम मसलों पर समय-समय पर मुख्यमंत्री सुक्खू से बातचीत होती रही है और होती रहेगी।