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बिलासपुर, 24 जून। रेलवे टनल प्रभावितों ने रेलवे लाइन प्रभावितों और नोग गांव से आगे सलनू व बेरी तक जहां रेलवे लाइन और टनल का निर्माण हो रहा है उन गांव में जाकर लोगों को भी रेलवे कंपनी द्वारा किए जा रही गड़बड़ियों के खिलाफ जागरूक करने के लिए घर-घर जाकर अभियान चलाएगी ताकि कंपनी द्वारा की जा रही लूट का पर्दाफाश कर इस लूट में शामिल लोगों को बेनकाब किया जा सके।
BPL और दलित परिवारों की आवाज कुचलने हेतु रेलवे टनल कंपनी कर रही संवैधानिक कायदे कानूनो का उल्लंघन, पिछले 1 वर्ष और हड़ताल के 24 दिन पूरे होने के बावजूद भी प्रशासनिक अधिकारी रेलवे कंपनी के खिलाफ उचित कार्यवाही कर पाने में असफल है। अधिवक्ता रजनीश शर्मा मुख्य कानूनी सलाहकार
मंच के अध्यक्ष अजय कुमार और उपाध्यक्ष देवी राम ने बताया कि जानबूझकर रेलवे कंपनी के दबाव के तहत और रेलवे कंपनी के दलालों को लाभ पहुंचाने के लिए उनके खिलाफ समय बाद सीमा के अंदर ना तो कोई जांच करवाई गई और अभी तक ना ही कोई उपयुक्त रिपोर्ट जिसमें प्रभावित परिवारों का पक्ष प्रशासनिक अधिकारियों और संबंधित विभागों के लोगों ने रखा है जो की स्पष्ट संकेत देता है कि किस प्रकार की बड़ी मिलीभगत रेलवे निर्माण कंपनी के दबाव के तहत की जा रही है जो कि स्थानीय ग्रामीण और प्रभावित लोगों के मानवाधिकारों और भूमि अधिकारों का हनन है। उन्होंने कहा 29 जून को किसान महापंचायत है जिसमें प्रदेश भर से लोग पहुंचेंगे।
रेलवे कंपनी की मनमानी धोखाधड़ी और गैर जिम्मेदाराना रवैए के खिलाफ जारी आंदोलन को तेज किया जाएगा
मंच के प्रभावित परिवारों के सदस्यों रेखा देवी शारदा देवी ने आरोप लगाया कि कंपनी को लाभ कैसे पहुंचा जाए यह तो सभी सोच रहे हैं लेकिन गरीबों को न्याय कैसे दिलाया जाए इस पर प्रशासन मौन साधे बैठा है, रेलवे कंपनी की मनमानी धोखाधड़ी और गैर जिम्मेदाराना रवैए के खिलाफ जारी आंदोलन को तेज किया जाएगा और जब तक क्षतिग्रस्त आवासीय घरों पशु शालाओं की जमीन का भूमि अधिग्रहण नहीं किया जाएगा और लोगों के ठहरने के लिए उचित व्यवस्था नहीं की जाएगी तब तक किसान और प्रभावित परिवार किसी भी दबाव और लालच में नहीं आएंगे।