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शिमला। हिमाचल प्रदेश हाईकोर्ट ने पावर कॉरपोरेशन के पूर्व निदेशक देशराज को चीफ इंजीनियर विमल नेगी की मौत से जुड़े मामले में फिलहाल कोई राहत नहीं दी है। देशराज ने अग्रिम जमानत की याचिका दायर की थी, लेकिन न्यायाधीश विरेंदर सिंह के समक्ष मामले की सुनवाई के बाद कोर्ट ने कहा कि वर्तमान में उपलब्ध जांच के रिकॉर्ड के आधार पर देशराज को कोई अंतरिम राहत नहीं दी जा सकती।
सोमवार को होगी अगली सुनवाई
बता दें कि कोर्ट ने मामले की अगली सुनवाई सोमवार को तय की है और अनुपूरक स्टेट्स रिपोर्ट दायर करने का आदेश दिया है। पावर कॉरपोरेशन के पूर्व निदेशक देशराज को फिलहाल कोर्ट से राहत नहीं मिली है।
सरकार और नेगी की पत्नी ने याचिका का किया विरोध
सरकार ने याचिका का विरोध करते हुए कहा कि यदि देशराज को अग्रिम जमानत दी जाती है, तो इससे न्याय की प्रक्रिया में बाधा उत्पन्न हो सकती है और जांच पर प्रतिकूल असर पड़ सकता है। वहीं, विमल नेगी की पत्नी ने भी याचिका का विरोध किया और आरोप लगाया कि देशराज ने उनके पति को मानसिक और शारीरिक रूप से प्रताड़ित किया और कार्यालय में अपने तरीके से काम करवाने का दबाव डाला।
आत्महत्या के लिए उकसाने का आरोप
गौरतलब है कि पावर कॉरपोरेशन के चीफ इंजीनियर विमल नेगी 10 मार्च से लापता थे और उनका शव 18 मार्च को बिलासपुर स्थित गोविंदसागर झील से बरामद हुआ था। उनकी पत्नी ने सीएम को पत्र लिखकर पावर कॉरपोरेशन के एमडी हरिकेश मीणा, निदेशक देशराज समेत अन्य अधिकारियों पर आरोप लगाए थे कि उनके पति को मानसिक प्रताड़ना दी गई थी। इसके बाद, परिवार ने देशराज पर आत्महत्या के लिए उकसाने का आरोप लगाया है।