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नेशनल डेस्क। एयर इंडिया के विमान हादसे के बाद अहमदाबाद के असारवा स्थित सिविल अस्पताल में अपनों की तलाश में परिजन परेशान हैं. वहीं, अस्पताल के सामान्य वार्ड में 40 वर्षीय विश्वाश कुमार रमेश एक बिस्तर पर लेटे हैं. उन्होंने बताया कि वह इस भयानक हादसे में किसी तरह बच गए. हिंदुस्तान टाइम्स की रिपोर्ट के अनुसार विश्वाश की छाती, आंख और पैर में चोटें आई हैं. उन्होंने बताया “उड़ान भरने के करीब 30 सेकंड बाद ही एक जोरदार आवाज आई और विमान दुर्घटनाग्रस्त हो गया. सब कुछ इतनी जल्दी हुआ कि समझ नहीं आया.”
विश्वाश ब्रिटेन के नागरिक हैं. कुछ दिनों के लिए भारत अपने परिवार से मिलने आए थे और अब अपने बड़े भाई अजय कुमार रमेश (45) के साथ वापस लंदन जा रहे थे. विश्वाश ने बताया “जब मैं होश में आया तो मेरे चारों ओर लाशें बिखरी पड़ी थीं. मैं डर गया था. किसी तरह खड़ा हुआ और भागने लगा. चारों ओर विमान के टुकड़े फैले थे. फिर किसी ने मुझे संभाला और एम्बुलेंस में डालकर अस्पताल लाया.”
लंदन में 20 साल से रह रहे
उन्होंने कहा कि वह पिछले 20 साल से लंदन में रह रहे हैं और उनकी पत्नी व बच्चे भी वहीं रहते हैं. विश्वाश ने बताया कि उनके भाई अजय विमान में दूसरी पंक्ति में बैठे थे. उन्होंने कहा “हम दोनों साथ ही यात्रा कर रहे थे लेकिन अब वह कहीं नजर नहीं आ रहे हैं. कृपया मेरी मदद कीजिए, मैं उन्हें ढूंढ नहीं पा रहा हूं.” वहीं अस्पताल में कई अन्य यात्री के परिवार और दोस्त भी परेशान हाल अपने प्रियजनों की तलाश कर रहे हैं।
कुल 230 यात्री सवार थे
एयर इंडिया की ओर से दी गई जानकारी के अनुसार, विमान में कुल 230 यात्री सवार थे, जिनमें 169 भारतीय, 53 ब्रिटिश, सात पुर्तगाली और एक कनाडाई नागरिक शामिल थे. अहमदाबाद: एयर इंडिया विमान दुर्घटना पर केंद्रीय नागरिक उड्डयन मंत्री राम मोहन नायडू किंजरापु ने कहा, ""मैं इस दुखद और भयावह घटना से पूरी तरह हिल गया हूं. प्रधानमंत्री ने मुझे फोन किया और मुझे घटनास्थल पर आने के लिए कहा.''
उन्होंने कहा ''समय मैं केवल यात्रियों और उनके परिवारों के बारे में सोच सकता हूं। कई एजेंसियां बचाव कार्यों में लगी हुई हैं...मैं अभी संख्याओं के बारे में कुछ नहीं कहना चाहता...हम पूरी मदद कर रहे हैं. केंद्रीय गृह मंत्री भी यहां घटनास्थल पर आ रहे हैं...हम निष्पक्ष और गहन जांच करने जा रहे हैं. हम इस बात की गहराई तक जाएंगे कि यह घटना क्यों हुई."