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कांगड़ा जिले के रानीताल में कल एक ही परिवार की दो लड़कियों की दुखद मौत के मामले में बुधवार को लड़कियों का पोस्टमार्टम करवाने के बाद शवों को पुलिस की निगरानी में एक साथ दफना दिया गया। एक लड़की खुशी जिसकी उम्र 7 साल थी और दूसरी लड़की अंशिका जो महज 3 साल की थी। इस मौके पर वहां मौजूद लोगों की आंखें नम थीं।
दोनों लड़कियों को पुलिस स्टेशन रानीताल से हेड कांस्टेबल राजीव धीमान और मानद हेड कांस्टेबल विनोद कुमार की देखरेख में दफनाया गया। वहीं लड़कियों की मां का टांडा में उपचार चल रहा था, उसकी हालत में सुधार होने पर उसे अस्पताल से छुट्टी दे दी गई है।
लड़कियों की मौत के बाद बुधवार सुबह करीब 10 बजे मां की भी तबीयत काफी गंभीर हो गई, जिसके चलते उसे उपचार के लिए टांडा ले जाया गया। मंगलवार को दोनों लड़कियों का पोस्टमार्टम करवाया गया। पुलिस मामले की जांच कर रही है। हालांकि खाने के सैंपल जांच के लिए लैब भेजे गए हैं, उनकी रिपोर्ट आने के बाद ही मौत के कारणों का पता चल पाएगा।
यह था मामला
मंगलवार रात रानीताल में एक ही परिवार की दो मासूम बच्चियों की संदिग्ध परिस्थितियों में मौत हो गई। उत्तर प्रदेश के बरेली निवासी नेक पाल पिछले 20 सालों से रानीताल थाने के पास अपनी पत्नी और दो बेटियों के साथ किराए के मकान में रह रहे थे। मंगलवार रात को उन्होंने खाने में कढ़ी-चावल बनाए थे, पूरे परिवार ने एक साथ खाया और सो गए।
देर रात उनकी तीन साल की छोटी बेटी अंशिका और सात साल की दूसरी बेटी खुशी की तबीयत खराब होने से मौत हो गई। उनकी मां का भी गंभीर हालत में टांडा में उपचार चल रहा है। आशंका जताई जा रही है कि खाने के बाद ही उनकी तबीयत बिगड़ी। डीएसपी देहरा अनिल कुमार ने बताया कि बच्चियों की कम उम्र होने के कारण उनका अंतिम संस्कार करने की बजाय उन्हें दफना दिया गया।