हिमाचल प्रदेश सूचना आयोग ने आरटीआई एक्ट के तहत सूचना देने में अनावश्यक देरी के एक मामले में एचआरटीसी के जन सूचना अधिकारी को 5,000 रुपये मुआवजा देने के आदेश दिए हैं। आयोग ने कहा कि यह मुआवजा सूचना प्राप्त करने में समय और संसाधनों की हानि पर देने के आदेश दिए गए हैं। यह मुआवजा आदेश प्राप्ति के हफ्ते के अंदर अपीलकर्ता को देना होगा। इसकी राज्य सूचना आयोग को भी सूचना देनी होगी।
राज्य मुख्य सूचना आयुक्त आरडी धीमान ने अपने फैसले में कहा कि जन सूचना अधिकारी ने आरटीआई एक्ट के तहत अतिरिक्त फीस मांगी है, जो अधिनियम के प्रावधानों के अनुरूप नहीं है।
ऐसे में इसे वापस लौटाया जाए। अपीलकर्ता से 4,000 रुपये की अतिरिक्त फीस मांगी गई थी। अपीलकर्ता ने 4,000 रुपये जमा भी किए हैं। प्रथम अपील का मंडलीय प्रबंधक ने बतौर अपीलीय अथॉरिटी सुनवाई का अवसर नहीं दिया। अपील को सामान्य तरीके से लिया। आयोग ने इसका गंभीर संज्ञान लिया है। आयोग ने पाया कि जन सूचना अधिकारी ने आरटीआई एक्ट के प्रावधानों की अवमानना की है।
अपीलकर्ता आशीष वर्मा ने यह जानकारी एचआरटीसी के क्षेत्रीय प्रबंधक से बतौर जन सूचना अधिकारी मांगी और सूचना मिलने पर इसके खिलाफ अपील की।