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शिमला। हिमाचल प्रदेश स्टेट इलैक्ट्रिसिटी बोर्ड लिमिटेड (HPSEBL) ने मंडी की सांसद कंगना रनौत के मनाली स्थित आवास के बिजली बिल को लेकर मीडिया में चल रही खबरों पर स्पष्टीकरण जारी किया है।
दो महीने का बिल है 90 हजार 384 रुपए
बोर्ड ने साफ किया है कि मनाली विद्युत उप-मंडल के अंतर्गत सिमसा गांव में कंगना रनौत के नाम पर रजिस्टर्ड घरेलू उपभोक्ता संख्या 100000838073 का वर्तमान बिजली बिल दो महीने की बकाया विद्युत खपत का है, जिसकी कुल राशि 90 हजार 384 रुपए है। बोर्ड ने इस दावे को पूरी तरह गलत और भ्रामक बताया कि यह बिल केवल एक महीने का है।
पिछले बिलों का नहीं किया भुगतान
बोर्ड के अनुसार, 22 मार्च को जारी किए गए बिजली बिल में कंगना रनौत के पिछले बिलों का बकाया 32 हजार 287 रुपए भी शामिल है। इस प्रकार, मार्च में जारी किया गया कुल बिल पिछले बकाया सहित 90 हजार 384 रुपए का बनता है। बिजली बोर्ड के प्रबंध निदेशक (एमडी) संदीप कुमार ने इस संबंध में विस्तृत जानकारी दी। उन्होंने बताया कि कंगना रनौत के आवास का कनेक्टेड लोड 94.82 किलोवाट है, जो कि एक सामान्य आवास के विद्युत लोड से लगभग 1500 प्रतिशत अधिक है।
बिजली बिल का समय पर नहीं किया भुगतान
उन्होंने यह भी बताया कि कंगना रनौत द्वारा अक्तूबर से दिसंबर तक के बिजली बिलों का भुगतान समय पर नहीं किया गया था। इसी तरह, जनवरी और फरवरी महीने के बिजली बिल भी समय पर नहीं दिए गए, जिसके कारण उन पर देरी शुल्क (सरचार्ज) भी लगा। दिसंबर की 6,000 यूनिट बिजली खपत का बकाया लगभग 31,367 रुपए था, जबकि फरवरी की 9,000 यूनिट बिजली खपत का बिल 58,096 रुपए था, जो समय पर भुगतान न करने के कारण देरी सरचार्ज सहित था।
14 हजार यूनिट खपत
संदीप कुमार ने यह भी जानकारी दी कि अक्तूबर, नवंबर और दिसंबर 2024 महीने का कुल बिजली बिल 82,061 रुपए था, जिसका भुगतान कंगना रनौत द्वारा 16 जनवरी 2025 को किया गया था। उन्होंने कहा कि कंगना रनौत द्वारा मासिक बिलों का भुगतान नियमित रूप से देरी से किया जा रहा है। जनवरी और फरवरी के बिजली बिलों का भुगतान 28 मार्च 2025 को किया गया, जिसकी कुल खपत 14,000 यूनिट थी। इन आंकड़ों से यह स्पष्ट होता है कि कंगना रनौत के आवास की मासिक बिजली खपत औसत रूप से 5,000 यूनिट से लेकर 9,000 यूनिट तक बहुत अधिक है।
सब्सिडी का लाभ उठा रही रनौत
बोर्ड ने यह भी स्पष्ट किया कि कंगना रनौत हिमाचल प्रदेश सरकार द्वारा बिजली बिलों पर दी जाने वाली सब्सिडी का भी लगातार लाभ उठा रही हैं। फरवरी महीने के बिल में उन्होंने मासिक बिजली बिल पर 700 रुपए की सब्सिडी प्राप्त की है।बिजली बोर्ड के एमडी संदीप कुमार ने प्रदेश के सभी विद्युत उपभोक्ताओं से आग्रह किया है कि वे समय पर अपने बिजली बिलों का भुगतान करें, ताकि उन्हें बिजली बिलों से संबंधित किसी भी प्रकार की असुविधा का सामना न करना पड़े। समय पर बिजली बिलों का भुगतान न केवल उपभोक्ताओं के लिए सुविधाजनक है, बल्कि इससे बिजली बोर्ड के कर्मचारियों के समय की भी बचत होती है।